सिविल इंजीनियर (Civil Engineer) कैसे बने?

Civil Engineer

Civil Engineer क्या है, Sivil Enjiniyar कैसे बने पढाई, युग्यता, फीस, प्रमुख विषय , कॉलेज | Sivil Enjiniyar Kaise Bane

Civil Engineer kaise bane

इंजीनियरिंग का वह भाग जिसमें बड़े-बड़े भवनों, बांधों आदि के निर्माण एवं डिजाइनिंग, सड़कों के निर्माण एवं रखरखाव से संबंधित पाठ्यक्रम से अवगत करवाया जाता है एवं शिक्षा दी जाती है, उसे सिविल इंजीनियरिंग कहा जाता है। सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स करने वालों को सिविल इंजीनियर (Civil Engineer) कहते हैं। सिविल इंजीनियर मुख्य रूप से भवनों, बांधों, सड़कों आदि के निर्माण की प्लानिंग, कंस्ट्रक्शन और डिजाइनिंग का कार्य करते हैं।

Civil Engineer कैसे बनें?

कई लोगों का Civil Engineer बनने का सपना होता है। यदि आप भी सिविल इंजीनियर बनना चाहते हैं तो बता दें कि आप चाहे तो कक्षा दसवीं के बाद या 12वीं के बाद भी सिविल इंजीनियर बन सकते हैं। सिविल इंजीनियर बनने के लिए निम्नलिखित बातों पर ध्यान देना जरूरी है –

दसवीं के बाद Polytechnic करें :

यदि आप दसवीं कक्षा के बाद ही सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स करना चाहते हैं और एक सफल सिविल इंजीनियर बनना चाहते हैं, तो आप सबसे पहले Polytechnic में अपना एडमिशन करवाएं। यह कोर्स 3 साल का होता है। इस कोर्स को करने के बाद आप आसानी से सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स कर सकेंगे।

विज्ञान विषय के साथ 12वीं की परीक्षा पास करें :

अगर आप 12वीं की परीक्षा के बाद सिविल इंजीनियर बनना चाहते हैं तो इसके लिए सबसे जरूरी है कि 12वीं की परीक्षा आप Science स्ट्रीम के साथ करें, जिसमें आप के प्रमुख विषयों के रूप में Maths, Physics और Chemistry का रहना अनिवार्य है। इसके साथ ही इस बात का भी ध्यान रखेंगे 12वीं कक्षा में आपके 60 प्रतिशत अंक होने चाहिए। इसके बाद ही आप सिविल इंजीनियरिंग के एंट्रेंस एग्जाम के लिए योग्य विद्यार्थी बन सकेंगे।

Entrance Exam पास करें :

यदि आपने दसवीं के बाद पॉलिटेक्निक या Science स्ट्रीम से 12वीं की पढ़ाई पूरी कर ली है तो अब आप एंट्रेंस एग्जाम के लिए पूरी तरह से तैयार हैं। इसके बाद आपको ऑल इंडिया लेवल पर एंट्रेंस एग्जाम के फॉर्म को भरना होगा, जिसमें मुख्य रुप से IIT और AIEEE आदि शामिल हैं।

यदि आप बेस्ट इंजीनियरिंग कॉलेज में एडमिशन प्राप्त करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको इन एंट्रेंस एग्जाम को पास करना होगा जिसके पास आप आसानी से सिविल इंजीनियरिंग कॉलेज में एडमिशन ले सकते हैं। एंट्रेंस एग्जाम क्लियर होने के बाद काउंसलिंग की प्रक्रिया शुरू होती है जिसमें आप अपनी रैंकिंग के अनुसार अच्छे कॉलेज चुन सकते हैं।

Civil Engineer बनने के बाद इंटर्नशिप करें :

यदि आपने सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स कर लिया है तो इसके बाद इंटर्नशिप करना बेहद जरूरी होता है। इंटर्नशिप आपके काम करने के तरीके में परफेक्शन लाता है और काफी सुधार करता है। इंटर्नशिप के दौरान आपकी एक्सपीरियंस बढ़ती है। सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स करने के बाद यदि आप किसी नौकरी के लिए अप्लाई करते हैं तो इंटरव्यू में आपके एक्सपीरियंस के बारे में पूछा जाता है और इससे आपकी सैलरी बढ़ने की भी काफी उम्मीद होती है। इंटर्नशिप के बाद आप पूरी तरह से सिविल इंजीनियर बन जाते हैं।

Sivil Enjiniyar बनने के लिए आवश्यक योग्यता :

सिविल इंजीनियरिंग काफी जिम्मेदारी वाला काम होता है। इसलिए इस पद पर नौकरी करने वालों को कई योग्यताओं की जरूरत होती है। सिविल इंजीनियर बनने के लिए निम्नलिखित योग्यताएं होनी जरूरी है :-

  1. . सिविल इंजीनियर का कोर्स करने के लिए आपको दसवीं और बारहवीं में विज्ञान विषय के साथ उत्तीर्ण होना जरूरी है।
  2. 12वीं में आपको पीसीएम यानी फिजिक्स, केमिस्ट्री, मैथ्स के साथ-साथ इंग्लिश विषय के साथ पढ़ना पड़ेगा।
  3. आपको 12वीं में कम से कम 60% अंक लाने बेहद जरूरी है।
  4. सिविल इंजीनियर बनने के लिए 12वीं में पीसीएम के साथ-साथ डिप्लोमा, बीई और बीटेक में भी आपको सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स करना होगा।
  5. इसके साथ ही सिविल इंजीनियर के प्रवेश परीक्षा का अंक पत्र भी आपके पास होना चाहिए।

Civil Engineer बनने के लिए किए जाने वाले कोर्स :

आप किसी सरकारी कॉलेज में सिविल इंजीनियरिंग के लिए पॉलिटेक्निक विषय की मदद से डिप्लोमा के लिए अपना दाखिला करवा सकते हैं। इस प्रवेश के बाद आपको JEE परीक्षा देकर बीटेक करना पड़ेगा। हालांकि कुछ प्राइवेट कॉलेजों में दाखिले के लिए आपको प्रवेश परीक्षा देना पड़ता है। सिविल इंजीनियरिंग करने या सिविल इंजीनियर बनने के लिए 4 तरह के कोर्स होते हैं, जो निम्नलिखित हैं :-

  • Diploma in Engineering
  • M.Tech
  • BE
  • B.Tech

Civil Engineer कोर्स करने की फीस :

अगर आप प्रवेश परीक्षा देकर सिविल इंजीनियर का कोर्स करना चाहते हैं, तो कोचिंग के लिए आपको कम से कम 1 लाख रुपए तक की फीस लग सकती है। वहीं अगर आप किसी सरकारी कॉलेज में दाखिला करवाना चाहते हैं तो वहां भी आपको लगभग एक लाख रूपए की फीस देनी पड़ेगी। वहीं अगर प्राइवेट कॉलेजों की बात करें तो विभिन्न सुविधाओं के साथ आपकी फीस 5 लाख रुपए तक की हो सकती है।

सिविल इंजीनियरिंग की पढ़ाई के प्रमुख विषय :

यदि आप सिविल इंजीनियरिंग कर सिविल इंजीनियर बनते हैं तो आपको बड़े-बड़े मल्टी स्टोरी बिल्डिंग एवं उनके स्ट्रक्चर के बारे में पढ़ाई करनी होगी। इसमें आपको बिल्डिंग के स्ट्रक्चर, ड्राइंग और डिजाइनिंग के बारे में बताया जाता है। सिविल इंजीनियर की पढ़ाई के प्रमुख विषय निम्नलिखित हैं –

  1. Engineering physics
  2. Engineering chemistry
  3. Electrical and electronics engineering
  4. Computer programming
  5. Basic of civil engineering
  6. English for communication
  7. Structural analysis
  8. Hydraulics
  9. Basic of electrical engineering
  10. Transportation engineering
  11. Solid mechanics
  12. Building design and drawing
  13. Basic of mechanical engineering
  14. Engineering drawing

Civil Engineer बनने के बाद करियर विकल्प :

आज के आधुनिक समय में रियल एस्टेट जैसे काम के कारण बिल्डिंग, स्कूल, पुल जैसी चीजें काफी ज्यादा निर्माण किए जाते हैं और इन सभी निर्माण कार्यों में सिविल इंजीनियर का काफी महत्व होता है। इसलिए सिविल इंजीनियर का करियर आज के समय में काफी अच्छा है।

आज के समय में जिसने भी सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स किया है, उसके पास अपने करियर के लिए काफी ज्यादा और अच्छे विकल्प होते हैं। रियल स्टेट और डायरेक्ट कंस्ट्रक्शन का सिविल इंजीनियर से सीधा जुड़ाव होता है और कहीं भी पुल, बिल्डिंग, हाईवे, एयरपोर्ट, सड़क जैसी चीजों के निर्माण में सबसे बड़ा और पहला हाथ सिविल इंजीनियर का ही होता है। सिविल इंजीनियर इन सभी चीजों के निर्माण में अलग-अलग पदों पर काम कर सकते हैं। इन निर्माण कार्यों में इसकी रूपरेखा तैयार करने के लिए सिविल इंजीनियर की ही मदद ली जाती है।

सिविल इंजीनियर को ना केवल गवर्नमेंट बल्कि प्राइवेट क्षेत्रों में भी करियर बनाने का काफी अच्छा मौका मिलता है। सिविल इंजीनियर कंस्ट्रक्शन, रिसर्च, रियल स्टेट, एजुकेशनल इंस्टीट्यूट में आसानी से नौकरी पा सकते हैं। इसके अलावा कोई सिविल इंजीनियर क्वालिटी जांच करने की लेबोरेटरी, सोसाइटी निर्माण, कंस्ट्रक्शन इंजीनियरिंग, मेंटेनेंस जैसी कंपनियों में एग्जीक्यूटिव, असिस्टेंट, कंसलटेंट, प्लानिंग इंजीनियर के पद पर आसानी से काम कर सकते हैं।

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Civil Engineer के प्रमुख कार्य :

सिविल इंजीनियर के निम्नलिखित कार्य होते हैं –

  • .किसी साधारण इंजीनियर या लोगों द्वारा बनाए गए नक्शे, विवरण और आंकड़ों की जांच कर परियोजना को सही करना सिविल इंजीनियर का काम होता है।
  • एक सिविल इंजीनियर किसी परियोजना में लगने वाले बजट का ध्यान रखता है।
  • सिविल इंजीनियर सरकार द्वारा बनाए गए नियमों को मानते हुए परियोजना को सफल बनाता है।
  • किसी भी परियोजना को सफल बनाने के लिए लोकल, राज्य और सुरक्षा के विभागों में आवेदन पत्र देकर अनुमति लेने का काम भी एक सिविल इंजीनियर का होता है।

Civil Engineer बनने के फायदे :

सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स करने के बाद इसके कई फायदे हैं, जिसमें कुछ प्रमुख फायदे निम्नलिखित हैं –

  • सिविल इंजीनियर की पढ़ाई करने के बाद सिविल इंजीनियर भू-तकनीकी, रचनात्मक, संरचना और कंस्ट्रक्शन इंजीनियर भी बन सकते हैं।
  • इसके साथ ही सिविल इंजीनियर बिल्डिंग निर्माण मॉडलिंग और ऑगमेंटेड रियलिटी जैसे क्षेत्रों में भी काम कर सकते हैं।
  • सिविल इंजीनियर बनने के बाद आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस विभाग में भी काम कर सकते हैं।
  • सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स कर यदि कोई सिविल इंजीनियरिंग की नौकरी नहीं करना चाहते हैं तो वह किसी अच्छे कॉलेज में प्रोफेसर या लेक्चरर भी बन सकते हैं।

Civil Engineer के विभिन्न पद :

सिविल इंजीनियर के प्रमुख पदों की बात की जाए तो निभा निम्नलिखित हैं –

  • Civil engineer
  • Planning engineer
  • Supervisor
  • Technician
  • Construction plant engineer
  • Executive engineer
  • Assistant Engineer

भारत में Civil Engineer की सैलरी :

सिविल इंजीनियर का काम या करियर आपको काफी अच्छी सैलरी दे सकता है। न केवल अन्य देशों में बल्कि भारत में भी एक सिविल इंजीनियर की सैलरी कम से कम 25,000 रुपए से 5 लाख तक होती है। हालांकि अलग-अलग विभाग के सभी Civil Engineer को अलग-अलग सैलरी भी मिलती है।

वहीं निर्माण इंजीनियर, लैब, संरचना जैसे क्षेत्रों में काम करने वाले सिविल इंजीनियर की सैलरी करीब 4 लाख रुपए तक होती है। भूमि तकनीकी और भूकंप वाली जगहों पर काम करने वाले सिविल इंजीनियरों की सैलरी करीब 5 लाख रुपए होती है।

भारत के 10 प्रमुख सिविल इंजीनियरिंग कॉलेज :

भारत के 10 प्रमुख इंजीनियरिंग कॉलेजों की सूची निम्नलिखित है –

  • Birla Institute of Technology, Ranchi
  • Veermata jijabai technological Institute, Mumbai
  • Indian Institute of Technology, IIT Bombay
  • Engineering College of Ajmer
  • MIT Manipal, Manipal Institute of Technology
  • COEP Pune, College of Engineering
  • VIT Vellore, Vellore Institute of Technology
  • SRM University Chennai, SRM institute of Science and Technology
  • IIT Madras, Indian Institute of Technology
  • LDCE Ahmedabad, LD College of Engineering

FAQs

Q.Civil Engineer की सैलरी कितनी होती है?

Ans: Civil Engineer की सैलरी 25,000 रुपए से लेकर 1 लाख रुपए तक होती है।

Q.सिविल इंजीनियर का काम क्या होता है?

Ans: सिविल इंजीनियर का काम बांधों एवं सड़कों के निर्माण के अलावा भवनों के निर्माण एवं डिजाइनिंग करना होता है।

Q.सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स कितने साल का होता है?

Ans: सिविल इंजीनियरिंग का कोर्स 4 साल का होता है।

प्रश्न 2.

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